सरकार ग्रामीण व शहरी सुविधाओं में अंतर को पूरा करने के लिए वचनबद्ध : LG Sinha
Friday, Jul 05, 2024-12:18 PM (IST)

श्रीनगर/जम्मू : श्रीनगर में भारत सरकार के आवास और शहरी मामलों के मंत्रालय की शहरी नियोजन पर उच्च स्तरीय समिति के सम्मेलन में उप-राज्यपाल मनोज सिन्हा मुख्यातिथि के तौर पर उपस्थित थे। इस मौके पर उपराज्यपाल के सम्मेलन में संबोधित करते हुए कहा कि जम्मू-कश्मीर का यू.टी. प्रशासन ग्रामीण और शहरी सुविधाओं में अंतर को प्राथमिकता के आधार पर पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध है।
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उप-राज्यपाल ने उच्च स्तरीय समिति के सदस्यों और सभी विशेषज्ञों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि सभी राज्यों और शहरी योजनाकारों के साथ दो दिनों तक चलने वाले विचार-विमर्श और सिफारिशों से देश में शहरी नियोजन में सुधार पर समिति की अंतिम रिपोर्ट तैयार करने में मदद मिलेगी।
उप-राज्यपाल ने टाऊन प्लानर्स, शहरी डिजाइनरों और विशेषज्ञों से भविष्य के लिए शहरों के निर्माण पर ध्यान केंद्रित करने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि मौसम की घटनाओं, जलवायु परिवर्तन के प्रभाव और अप्रत्याशित मौसम पैटर्न को देखते हुए भविष्य के शहरों के लिए लचीली शहरी योजना पर ध्यान देना जरूरी है।
उन्होंने शहरी परिवर्तन और टिकाऊ समावेशी और सुरक्षित शहरों के निर्माण पर यू.टी. प्रशासन के संकल्प को दोहराया जो लोगों की जरूरतों को पूरा करते हैं और आर्थिक, सामाजिक व जलवायु चुनौतियों से प्रभावी ढंग से निपटने में सक्षम हैं।
हमारे शहर देश के विकास इंजन
उप-राज्यपाल ने कहा कि हमारे शहर देश के विकास इंजन हैं और नागरिकों के सपनों और आकांक्षाओं को पूरा करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। बढ़ता शहरीकरण बढ़ती आकांक्षा को दर्शाता है। शहरी नियोजन टिकाऊ बुनियादी ढांचे का निर्माण करने और निवासियों को समृद्ध होने में सक्षम होना चाहिए।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में शुरू किए गए शहरी सुधारों पर प्रकाश डालते हुए उप-राज्यपाल ने कहा कि शहरी कायाकल्प और स्मार्ट सिटी अभियान जैसी प्रमुख पहलों से शहरी योजनाकार जीवन की गुणवत्ता बढ़ाने के लिए शहरों के अधिक समग्र विकास की खोज कर रहे हैं।
उप-राज्यपाल ने शहरीकरण की चुनौतियों का समाधान करने और सभी नागरिकों के लिए गुणवत्तापूर्ण जीवन सुनिश्चित करने पर ध्यान केंद्रित करते हुए कुछ मूल्यवान सुझाव दिए। उन्होंने उच्च स्तरीय समिति से आधुनिक सुविधाओं और प्राकृतिक विरासत के बीच संतुलन बनाने और भविष्य की शहरी योजना में गुणवत्तापूर्ण रहने की जगह पर ध्यान केंद्रित करने का आग्रह किया।
उन्होंने टिकाऊ शहरीकरण और व्यापक, सर्व-समावेशी शहरी विकास, शहरी लचीलापन और भविष्य की तैयारी की आवश्यकता पर भी जोर दिया। भौतिक और डिजिटल कनैक्टीविटी में वृद्धि के साथ उपग्रह शहरों और ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों और जीवन की गुणवत्ता को नए सिरे से बढ़ावा देने का आह्वान किया।
शहरों की पारिस्थितिक क्षमता भविष्य में उनकी आर्थिक क्षमता का आधार बनेगी
उप-राज्यपाल ने कहा कि शहरों की पारिस्थितिक क्षमता भविष्य में उनकी आर्थिक क्षमता का आधार बनेगी। रोजगार और व्यवसाय के अवसर पैदा करने के लिए वाणिज्यिक केंद्र विकसित करने पर ध्यान देने के साथ सार्वजनिक सुविधाएं और स्थान सुलभ और समावेशी होने चाहिएं।
शहरी नियोजन पर उच्च स्तरीय समिति के अध्यक्ष केशव वर्मा ने जम्मू-कश्मीर के शहरी परिदृश्य को बदलने के लिए उप-राज्यपाल के नेतृत्व वाले केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन की सराहना की। शहरी नियोजन विशेषज्ञों ने भी शहरी नियोजन और विकास में आवश्यक सुधारों पर अपने विचार सांझा किए।
इस अवसर पर अध्यक्ष जम्मू-कश्मीर रियल एस्टेट नियामक प्राधिकरण सतीश चंद्र, आयुक्त सचिव आवास एवं शहरी विकास विभाग मनदीप कौर, संभागीय आयुक्त कश्मीर विजय बिधूड़ी, उच्च स्तरीय समिति और रेरा के सदस्य, शहरी एवं नगर नियोजन विशेषज्ञ और वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।